
(जगदलपुर) बस्तर में प्रकृति की बहार तो है ही, अब जल्द ही अमन की बहार भी बहेगी - रमन सिंह
- 08-Oct-25 02:52 AM
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जगदलपुर, 08 अक्टूबर (आरएनएस)। विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह ने कहा है कि बस्तर में प्रकृति की बहार तो है ही, अब जल्द ही अमन की भी बयार बहने वाली है, शांति की बहार आने वाली है।
विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह दो दिवसीय प्रवास पर बस्तर आए हैं। आज उन्होंने जगदलपुर में आयोजित स्वदेशी मेले के समापन समारोह में शिरकत की और संवाददाताओं से चर्चा भी की। मीडिया से बात करते हुए डॉ. रमन सिंह ने कहा कि विधानसभा स्पीकर की अपनी नई भूमिका में मैं सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच निष्पक्ष रहकर काम करता हूं। हिंदुस्तान के अन्य विधानसभाओं से कहीं ज्यादा बेहतर कार्यशैली और अनुशासन छत्तीसगढ़ विधानसभा में है। सभी सदस्य मर्यादा में रहकर अपनी बातें रखते हैं। यह हमारे छत्तीसगढ़ की उत्कृष्ट परंपरा का द्योतक है। सभी सदस्यों चाहे पक्ष के से हों या विपक्ष के, सबका सम्मान होता है। डॉ. रमन सिंह ने कहा कि बस्तर में तेजी से बदलाव आ रहा है, बस्तर शांति की ओर तेजी से अग्रसर हो रहा है। यहां इंडस्ट्री, पर्यटन के क्षेत्र में अपार संभावनाएं हैं। बस्तर में नक्सलवाद खत्म होने की कगार पर है। दोनों ओर से शांति वार्ता की पेशकश की जा रही है। यह बस्तर और छत्तीसगढ़ के लिए शुभ संकेत है। खून खराबे में किसी की भलाई नहीं है, नुकसान दोनों पक्षों को उठाना पड़ता है। शांति से ही दोनों पक्षों का भला होगा। डॉ. रमन सिंह ने कहा कि घोषणा होते ही बस्तर में बहार आ जाएगी, अमन और तरक्की की बयार बहने लगेगी। प्रकृति ने बस्तर पर अपनी पूरी कृपा बरसाई है, अब खून खराबा बंद होते ही बस्तर के नए युग की शुरुआत होगी।बस्तर में सैलानियों की संख्या में आशातीत वृद्धि होगी, स्थानीय लोगों को रोजगार के भरपूर अवसर मिलेंगे और शासन के भी राजस्व में अच्छी वृद्धि होगी। डॉ. रमन सिंह ने कहा कि बस्तर में उद्योग जगत के लिए भी अकूत संभावनाएं हैं। यहां वनोपज, मक्का, धान व कृषि आधारित उद्योग बस्तर में बड़ा बदलाव ला सकते हैं।
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