(दतिया)दतिया जिले में प्राकृतिक खेती हेतु स्थापित होंगे 17 बायो इनपुट रिसोर्स सेंटर

  • 08-Sep-25 12:00 AM

दतिया 8 सितंबर (आरएनएस)।भारत सरकार के कृषि व किसान कल्याण मंत्रालय की नेशनल मिशन ऑन नेचुरल फार्मिग योजना के तहत् जिले में 17 बायो इनपुट रिसोर्स सेंटर बीआरसी खोले जायेंगे। जिले में योजना के अंतर्गत 25 नेचुरल फार्मिग कलस्टर बनाये गए है हर 3 कलस्टर पर 2 बीआरसी की स्थापना की जानी है।बीआरसी के लिए स्थानीय कृषि उद्यमी, किसान उत्पादक संगठन, स्वहायता समूह, प्राथमिक सेवा सहकारी समिति अपने-अपने आवेदन निर्धारित प्रारूप में 22 सितम्बर 2025 तक विकासखण्ड क्रियान्वयन संस्थायें जैसे कार्यालय विकासखण्ड तकनीकी प्रबंधक आत्मा, परियोजना संचालक आत्मा जिला दतिया को आवेदन कर सकते है। जिले में बीआरसी विकासखण्ड दतिया में 6, सेवढ़ा में 8 एवं भाण्ड़ेर में 3 सेंटर स्थापित किये जायेंगे। इच्छुक आवेदक आवेदन की सम्पूर्ण पृविष्टियां भरते हुए जरूरी दस्तावेजों में संस्था का पंजीयन, आधार कार्ड, पेन कार्ड एवं सदस्यों की सूची देना अनिवार्य है। साथ ही उत्पादों एवं कृषि आदानों के भंण्डारण की व्यवस्था, कम से कम 2 वर्षो का प्राकृतिक खेती का अनुभव, बीआरसी संचालन का विस्तृत बिजनिस प्लान आवेदन के साथ संलग्न करना होगा। सेंटर का स्थान वहां की खेती की स्थिति, सेवा का क्षेत्र का बाजार, विषलेशण, जार्गरूकता और विपणन की रणनीति, जैविक इनपुट की विक्रय की योजना शामिल होना चाहिए।प्राकृतिक खेती के लिए उत्पादित जैव-दनपुट की सूची, कच्चे माल की उपलब्धता एवं सोर्स का विवरण भी देना होगा। बीआरसी के पास पशुधन, पौधों पर आधारित बायोगमास जैसे कच्चे माल की पर्याप्त उपलब्धता होना चाहिए यदि गौ-मूत्र और गाय के गोबर की आपूर्ति स्वयं नहीं हो तो 5 किलोमीटर के दायरे में स्थित गौ-शाला से व्यवस्था करनी होगी, व्यवस्था हेतु अनुबंध आवश्यक है।बीआरसी संचालन के लिए स्वयं सहायता समूह, किसान उत्पादन संगठन, प्राथमिक सेवा सहकारी समिति मर्या. गौ-शाला बग्राम पंचायत या अन्य सहायता समूह किसान उत्पादन संगठन, प्राथमिक सेवा सहकारी समिति मर्या. गौशाला ग्राम पंचायत या अन्य समुदाय आधारित संगठन से साझेदारी का विवरण देना होगा। आवेदक को अपने खेत में जैव इनपुट का उपयोगकर्ता होना चाहिए यदि कलस्टर में कोई संस्था, एमपीओ या समूह उपलब्ध या पात्र नही है तो वहां प्राकृतिक खेती करने वाले कृषि उद्यमी का चयन किया जा सकेगा। विस्तृत चर्चा हेतु विकासखण्ड स्तर पर बीटीएम अत्मा एवं जिला स्तर पर परियोजना संचालक आत्मा कार्यालय से सम्पर्क किया जा सकता है।




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