(धमतरी) स्कूल काम्प्लेक्स के क्रियान्वयन के लिए सत्रह स्कूल के शाला प्रबन्धन समिति के सत्तर सदस्यों के साथ बड़ी बैठक

  • 23-Sep-25 06:24 AM


धमतरी, 23 सितम्बर (आरएनएस)। छत्तीसगढ़ राज्य में अभी स्कूल काम्प्लेक्स योजना को विधिवत लागू नहीं किया गया है, लेकिन भविष्य में इसे बहुत जल्दी लागू करने की योजना एवम रणनीति बन रही है। नई शिक्षा नीति की अनुशंसानुरूप गुणवत्ता पूर्ण शिक्षा के लिए यह आवश्यक भी है कि संकुल को ज्यादा अधिकार देते हुए शिक्षा का गुणवत्तापूर्ण विकेंद्रीकरण किया जाए। नई शिक्षा नीति में संकुल प्राचार्य को गुणवत्ता की पूरी जिम्मेदारी दी जाएगी। विद्यालयों की प्रभावी मॉनिटरिंग के साथ साथ प्राथमिक,पूर्व माध्यमिक विद्यालय में कार्यरत शिक्षकों को अकादमिक सहयोग देने की बात नई शिक्षा नीति में कही गई है।


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इसके अतिरिक्त विद्यालय स्तर पर गठित समिति का उन्मुखीकरण करना भी संकुल प्राचार्य का दायित्व है।विद्यालयों में गठित समिति अपने अधिकार एवम दायित्वों का निर्वहन भी भली भांति करे। गठित समिति विद्यालयीन वार्षिक कार्य योजना के निर्माण एवम क्रियान्वयन की निर्णय प्रक्रिया में भागीदार बने। इन्हीं सब बातों को ध्यान में रखकर सिंगपुर संकुल के प्राचार्य एवं शिक्षकों ने अभिनव पहल करते हुए सिंगपुर संकुल के अंतर्गत सत्रह प्राथमिक एवम माध्यमिक स्कूल के  एस. एम.सी.सदस्यों के साथ बैठक करने का निर्णय लिया। बैठक में उपस्थित एस एम सी सदस्यों को स्कूल काम्प्लेक्स में होने वाले बदलाव के बारे में विस्तृत जानकारी दी गई। इसके बाद  विद्यालय स्तर पर समिति गठन करने  के उद्देश्यों पर विस्तृत प्रकाश डालते हुए संकुल प्राचार्य डॉ व्ही पी.चन्द्रा , व्याख्याता कल्याण कौशलएवम जितेंद्र ग्वाल ने कहा कि स्कूल के बेहतर संचालन के उद्देश्य से समिति का गठन किया गया है। समिति अपने अधिकार एवम दायित्वों को भली भांति समझे। विद्यालयों की सतत मॉनिटरिंग,विषयवार, माहवार बच्चों की प्रगति की समीक्षा,कमजोर बच्चों के अधिगम में वृद्धि हेतु योजना एवम रणनीति निर्माण का काम भी समिति का। विद्यालय में उपलब्ध भौतिक संसाधन का सदुपयोग एवम संसाधनों की पूर्ति करना भी समिति के दायित्व क्षेत्र में है। सदस्यों को स्पष्ट रूप से बताया गया कि समिति का काम केवल मासिक बैठक में उपस्थित होना नहीं है बल्कि विद्यालय संचालन की पूरी जिम्मेदारी समिति की है। बच्चों की नियमित एवम सतत उपस्थिति सुनिश्चित कराने का दायित्व भी समिति का है। स्कूल के बाद बच्चों को घर में पढ़ाने की जिम्मेदारी भी समिति को उठाने की जरूरत है । इसके लिए कुछ वालिंटियर बनाने से यह काम बखूबी हो सकता है। संकुल प्राचार्य एवम शिक्षकों के द्वारा की गई इस अभिनव पहल  बैठक में एस एम सी सदस्यों में से मुख्यत: प्रीतम यादव,बिसाहिन बाई,पार्वती कौशल,चुनेश्वरी कंवर,रामरतन ध्रुव,हुसैन खान, आनन्द राम,कमलेश्वरी यादव,रायसिंह कमार,सहा बाई मरकाम,पिंकी बाई नेताम,नरेश मरकाम,महादेव,प्रीतम यादव, प्रमिला डहरिया, सतवन बाई, देवराज ध्रुव, चमरुराम नेताम,कन्हैयालाल ध्रुव, हरिश्चंद्र सलाम, दुधिया बाई, तुलसीराम नेताम,दसरू मरकाम, सुखवती, मिटजलेश कुमार ध्रुव, राजकुमारी, बसन्ताबाई, सन्तोषी बाई, भानमती बाई, मनोज सिन्हा, दुर्योधन सिंह ध्रुव,रमेश पहारिया,,गणेशराम,चन्द्रिका ध्रुव, चिंताराम ध्रुव, मनोज सिन्हा, डोमेश्वर राम, ओमप्रकाश, ललित दीवान, शेषकुमार, देवेंद्र कुमार ध्रुव, राजूलाल, पन्ना लाल, सीताबाई, सत्यवती ध्रुव एवं जगबाई उपस्थित थे। उपस्थित सभी सदस्यों ने नई नई जानकारी मिलने के कारण बैठक को बहुत ही रचनात्मक एवम सार्थक बताया । सभी सदस्यों ने बैठक में ही संकल्प लिया कि वे गाँव जाकर आम पालकों के साथ विद्यालय विकास हेतु बैठक आयोजित कर योजना एवम रणनीति का निर्माण करेंगे। कार्यक्रम के अंत में संकुल प्राचार्य के साथ उपस्थित सभी सदस्यों ने बैठक के सार को इन नारों के साथ दुहराया- हमर गाँव, हमर लईका, हमर स्कूल हमर जिम्मेदारी।
बंछोर
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