(भोपाल) जब भी महिला प्रतिनिधित्व की बात हुई, प्रदेश की नेत्रियों का नाम सम्मान से लिया गया
- 29-Oct-23 12:00 AM
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भोपाल,29 अक्टूबर (आरएनएस)। राजनीति में जब भी महिला प्रतिनिधित्व की बात हुई तो मध्य प्रदेश की महिला नेत्रियों का नाम बड़े सम्मान से लिया गया। बात चाहे पूर्व लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन, मध्यप्रदेश की उप मुख्यमंत्री रही स्वर्गीय जमुना देवी की होया फिर पूर्व मुख्यमंत्री उमा भारती की, इन सबने राष्ट्रीय स्तर पर राजनीति में एक अलग पहचान बनाई। इन महिला नेत्रियों ने अपने प्रतिनिधित्व के बदल पर लोगों के राजनीतिक सोच को बदला है। प्रदेश की महिला विधायक समय-समय पर अपने कार्य बल पर समाज में उदाहरण बनी हैं। वर्ष 2008 में भाजपा की 14, कांग्रेस की छह, सपा की एक और एक मनोनती एंग्लो इंडियन महिला विधायक थीं। वर्ष 2018 के विधानसभा चुनाव में भाजपा की 11, कांग्रेस की नौ और बसपा की एक महिला विधायक बनीं। इस विधानसभा में मनोनीत विधायक नहीं थी। इस बार भाजपा ने 28 और कांग्रेस ने 30 महिलाओं ाके प्रत्याशी बनाया है। छह विधानसभा सीटें ऐसी हैं, जहां दोनों ही पार्टियों की महिला प्रत्याशी आमने-सामने हैं। इस प्रकार भाजपा ने 22 और कांग्रेस ने 24 सीटों पर पुरुष प्रत्याशियों के विरुद्ध महिला प्रत्याशी को उतारा है। अनिल पुरोहित
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