(मीरजापुर) संतों की वाणी नदी के समान पवित्र होती है: नागा बाबा

  • 04-Oct-25 12:00 AM

मीरजापुर, 04 अक्टूबर (आरएनएस)। भगवान हर जीव और कण में विराजमान हैं। उनका नाम लेने से जीवन प्रकाशित होता है और कल्याण होता है। यह बात जूना अखाड़ा के संत महंत राजेश्वरी पूरी नागा बाबा ने हनुमान मंदिर परिसर में आयोजित कथा कार्यक्रम में कही। महंत जी ने कहा कि संतों की वाणी नदी के समान पवित्र होती है। उसमें जो भी डूबता है। उसका मन और विचार निर्मल हो जाता है। ऐसे व्यक्ति ऊर्जावान और तेजस्वी बनकर समाज और राष्ट्र की सेवा में महत्वपूर्ण योगदान देता है। उन्होंने उदाहरण देते हुए कहा कि जैसे सूर्य की किरणें सभी को प्रकाश देती हैं वैसे ही भगवान का नाम हर इंसान को प्रकाशित कर देता है। उन्होंने यह भी कहा कि आपसी लड़ाई-झगड़ा मानव निर्मित मूर्खता है। वास्तव में हर कोई भगवान का बंदा है। ईश्वर वृक्ष, पशु, पक्षी और प्रत्येक स्थान पर उपस्थित हैं। इसलिए भेदभाव और संघर्ष छोड़कर ईश्वर का नाम लेना ही सच्चा कल्याण है।कार्यक्रम की व्यवस्था में पूर्व प्रधान मनोज केसरवानी, चेतन अग्रहरि, नीरज उपाध्याय, शुभम केसरवानी सहित अन्य लोग जुटे रहे। इस मौके पर स्वामी अवधूत गिरी, ब्रह्मचारी शांति गिरी, चंचल गिरी, लहरी बाबा समेत कई संतों की उपस्थिति रही।




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