(रतलाम)नवीन विचारों से नव भारत का निर्माण उत्कृष्ट विद्यालय में इंस्पायर मानक 2025 आइडियाज अपलोड हेतु मार्गदर्शन कार्यशाला सम्पन्न हुई
- 13-Aug-25 12:00 AM
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रतलाम, आरएनएस, 13, अगस्त। शासकीय उत्कृष्ट विद्यालय, रतलाम में इंस्पायर मानक अवॉर्ड प्रदर्शनी के पूर्व एक दिवसीय मार्गदर्शन कार्यशाला का भव्य आयोजन हुआ। इस गरिमामयी अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप में आगर-मालवा के नवाचारी शिक्षक शैलेन्द्र कसेरा, अध्यक्ष सुभाष कुमावत (प्राचार्य, उत्कृष्ट उमावि रतलाम), विशेष अतिथि अशोक लोढ़ा (एडीपीसी रतलाम), जिला परियोजना समन्वयक धर्मेन्द्र सिंह हाड़ा एवं योजना अधिकारी सह जिला विज्ञान अधिकारी जितेंद्र जोशी, श्रवण भावसार उपस्थित रहे।अशोक लोढ़ा ने अपने प्रेरक संबोधन में कहा कि विज्ञान केवल यंत्रों और प्रयोगशालाओं का खेल नहीं, बल्कि यह जीवन का सुगम पथ प्रदर्शक है। जल की एक बूँद बचाना, वायु को प्रदूषण से मुक्त करना, सूर्य की ऊर्जा से घर रोशन करना कृ ये सब नवाचार के बीज हैं, जो कल हरे-भरे वृक्ष बनकर समाज को छाया और फल देंगे। इंस्पायर अवार्ड जैसी योजनाएँ छात्रों की कल्पना को उड़ान और विचारों को पंख प्रदान करती हैं, जिससे वे "राष्ट्र निर्माण के रथ के सारथी बनते हैं। विगत 5 वर्षों में जिले का प्रदर्शन राज्य स्तर पर अद्वितीय रहा है। हमें विद्यार्थियों को मात्र मॉडल निर्माण की ओर नहीं, बल्कि जीवनोपयोगी एवं नवीन विचारों की खोज हेतु प्रेरित करना है, क्योंकि आविष्कार आवश्यकता की कोख में ही जन्म लेता है।"ग्लोबल इनोवेशन फाउंडेशन के कॉर्डिनेटर शैलेंद्र कसेरा कहा कृ हमारे उद्देश्य का केन्द्र कोई प्रयोगशाला का प्रयोग नहीं, बल्कि ऐसे विचारों का सृजन है जो जीवन को सहज और सरल बना सकें। उन्होंने अपने तीन विचारों को राष्ट्रीय पटल तक पहुँचाने की प्रेरणादायक गाथा सुनाई, जो छात्रों के लिए आशा का दीप और सफलता का मार्ग है। कसेरा ने अपने उद्बोधन में कहा की बच्चों में इनोवेशन और वैज्ञानिक सोच को बढ़ावा देने के लिए अनबॉक्स आइडिया थिंकिंगपर कार्य करना होगा, इस वर्कशॉप का उद्देश्य इस सत्र में होने वाली इंस्पायर अवार्ड मानक प्रतियोगिता के साथ साथ बच्चो में इनोवेशन के प्रति जागरूकता पैदा करने के लिए किया गया। शैलेन्द्र कसेरा के द्वारा इंस्पायर अवार्ड प्रतियोगिता के चयन संबंधी सभी बिंदुओं पर विस्तृत जानकारी प्रदान करते हुए बताया कि आज भी हर रोज ऊपयोग में आने वाले कई उपकरणों में कई प्रकार के नवाचार और सुधार की आवश्यकता होती है। जिन्हें हम अपनी बंद सोच या बॉक्स थिंकिंग के कारण अनदेखा कर देते है। इन्ही सुधार की आवश्यकता के कारण हमारे बाल वैज्ञानिको के द्वारा डिजाइन थिंकिंग और प्रॉब्लम सॉल्विंग प्रोसेस का प्रयोग कर नए-नए इनोवेटिव चीजों का अविष्कार किये जा रहे है जिनके प्रोत्साहन के लिए इस प्रतियोगिता को आयोजित किया जाता है।धर्मेन्द्र सिंह हाड़ा ने कहा कि नवाचार के लिए अलग साधन-संसाधन की आवश्यकता नहीं, बल्कि प्रतिदिन देखी जाने वाली समस्याओं में ही समाधान के बीज छिपे होते हैं। स्वतंत्र श्रोत्रिय ने पंजीयन से लेकर पोर्टल संबंधी कठिनाइयों के निवारण की जानकारी दी और प्रत्येक विद्यालय से अधिकतम पाँच विचार अपलोड करने का आग्रह किया।मुकेश परमार ने इंस्पायर मानक अवॉर्ड कार्यशाला में प्रेरणा के स्वर व्यक्त करते हुए विद्यार्थी विज्ञान मंथन योजना की शाला से लेकर राज्य स्तर की परीक्षा प्रक्रिया का विवरण प्रस्तुत किया।कार्यशाला पश्चात सभी अतिथियों द्वारा एक पेड़ माँ के नाम 2.0 अंतर्गत उत्कृष्ट विद्यालय परिसर में छायादार और औषधीय पौधों को रोपित किया।इस अवसर पर रतलाम एवम् बाजना ब्लॉक के समस्त संकुल विज्ञान अधिकारी एवं जनशिक्षक उपस्थित रहे। कार्यशाला का संचालन ऋतेश पंवार ने किया तथा आभार श्रवण भावसार ने व्यक्त किया।
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