(रामगढ़) खेलो झारखंड एसजीएफआई स्कूल वुशू गेम में रामगढ़ को मिला 7 गोल्ड 4 सिल्वर और तीन ब्रॉन्ज मेडल
- 04-Oct-23 12:00 AM
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रामगढ़ 4 अक्टूबर (आरएनएस)। राज्य शिक्षा परियोजना परिषद रांची के तत्वधान में 29 सितंबर से 1 अक्टूबर तक ठाकुर विश्वनाथ शाहदेव इंडोर स्टेडियम रांची में खेले जाने वाले खेलो झारखंड एस जीएफआई स्कूल वुशू गेम में रामगढ़ के खिलाडिय़ों ने अपना दबदबा और दमखम दिखाते हुए सात गोल्ड चार सिल्वर और तीन ब्रांज मेडल जीत कर अंडर - 17 बॉयज और अंडर-19 बॉयज में रनर अप के पुरस्कार जीत कर अपने नाम कर लिया। और सातों गोल्ड मेडलिस्ट आगामी जनवरी माह में एसजीएफआई नेशनल गेम में अपना स्थान पक्का कर लिया।मालूम हो की रामगढ़ जिला से कुल 23 वुशू खिलाडिय़ों ने प्रतियोगिता में भाग लिया था जिसमें विभिन्न किलोग्राम भार के बालक एवं बालिकाओं में अंडर 17 वर्ष में गोल्ड जीतने वालों में -45 किलोग्राम में अमन कुमार -48 किलोग्राम में सौरभ कुमार,-65 किलोग्राम में कृष सिन्हा और बालिका वर्ग में -52 किलोग्राम में खुशी कुमारी।सिल्वर मेडल में - 45 किलोग्राम में विपुन कुमार,-52 किलोग्राम में राजकुमार, -60 किलोग्राम में सचिन कुमार और एक ब्रांज मेडल -56 किलोग्राम में कुमार गौरव मांझी रहे। अंदर 17 के अंक तालिका में दूसरे स्थान पर रह कर रनर अप का पुरस्कार जीता। अंदर-19 वर्ष में गोल्ड जीतने वालों में - 60 किलोग्राम में समीर भुइया ,-70 किलोग्राम में ज्ञान गौरव , बालिका वर्ग में - 52 किलोग्राम में सोलंती कुमारी,सिल्वर मेडल -56 किलोग्राम में गुण कुमारी, ब्रांज मेडल जीतने वालों में -52 किलोग्राम में सुमित कुमार महतो और - 40 किलोग्राम में रीता कुमारी ने जीता और अंक तालिका में दूसरा स्थान प्राप्त कर रनर अप का पुरस्कार जीत कर अपने नाम कर लिया।दोनों वर्गो के रनर अप का पुरस्कार जीतने परगिरिडीह सांसद चंद्र प्रकाश चौधरी, विधायक सुनीता चौधरी ,जिप अध्यक्ष सुधा चौधरी,कोच गौरीशंकर दांगी सहित अन्य लोगों में खिलाडिय़ों को उज्वल भविष्य की शुभकामनाएं दिए।शिक्षक सह बुधु कोच गौरीशंकर सर ने जिले में वुशु खेल को एक नई पहचान दी है जिनकी सफल मार्गदर्शन में जिले के कई खिलाडिय़ों ने कई बार राज्य स्तर से लेकर राष्ट्रीय स्तर के खेलों में बेहतर प्रदर्शन कर वाहवाही बटोरे हैं।खिलाडिय़ों ने बताया की संसाधनों के घोर अभाव में भी गौरीशंकर सर ने हमारे अंदर सफलता के लिए संघर्ष करने की लौ को सदा जलाए रखा और हमसब को सदा प्रेरित करते रहे।बताते चलें की कई बार खिलाड़ी अपने बेहतर प्रदर्शन से राज्य और राष्ट्रीय स्तर के खेल में जगह बना पाते हैं कई बार इन्हे राज्य से बाहर जाना पड़ता है ऐसे में गरीब बच्चों को आर्थिक परेशानी का सामना करना पड़ता है।पर इनके मार्गदर्शक कोच गौरीशंकर जो एक सीमित आय में जीवन जीते हुए इनकी आर्थिक मदद भी करते हैं इनका यही जज्बा है की इस खेल में रामगढ़ ने अपनी अलग पहचान बनाई है।कोच कहते हैं की क्षेत्र में प्रतिभा की कमी नहीं है बस उन्हें आगे बढ़कर प्रोत्साहित करने की जरूरत है।इनका कहना है की जिला और रजरप्पा क्षेत्र से वुशू के खिलाड़ी बेहतर प्रदर्शन कर रहें है इसलिए सीएसआर के तहत इन्हे भी प्रशिक्षण दिया जाना चाहिए जिससे की वो आगे बढ़ सकें।
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