
(सरगुजा/अम्बिकापुर) सरगुजा के अंबिकापुर में 65 लाख रुपये का राशन घोटाला, 6 लोगों पर एफआईआर दर्ज
- 10-Oct-25 12:42 PM
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सरगुजा/अम्बिकापुर, 10 अक्टूबर (आरएनएस)। छत्तीसगढ़ के अंबिकापुर में गरीबों के हक के राशन में करीब 65 लाख रुपये का बड़ा घोटाला सामने आया है। इस मामले में चावल, शक्कर और चना की हेराफेरी की गई है। कलेक्टर के आदेश पर हुई जांच के बाद पुलिस ने सहकारी समिति के अध्यक्ष, उपाध्यक्ष समेत 6 लोगों के खिलाफ धोखाधड़ी और आवश्यक वस्तु अधिनियम के तहत स्नढ्ढक्र दर्ज की है।
भाजपा नेता की शिकायत पर हुआ खुलासा
जानकारी के अनुसार, अंबिकापुर में जनकल्याण खाद्य सुरक्षा पोषण एवं उपभोक्ता सेवा सहकारी समिति द्वारा सरकारी राशन दुकान का संचालन किया जा रहा था। लंबे समय से शिकायतें मिल रही थीं कि समिति द्वारा संचालित दुकानों में चावल, चना और शक्कर की बड़े पैमाने पर अफरा-तफरी की जा रही है। भाजपा नेता आलोक दुबे ने इस संबंध में कलेक्टर अजीत वसंत से शिकायत की थी।
शिकायत मिलने के बाद कलेक्टर ने खाद्य विभाग के इंस्पेक्टर से राशन दुकानों की भौतिक जांच कराई। जांच में पाया गया कि दुकानों में स्टॉक से कम राशन मौजूद था। इससे साफ हो गया कि सरकारी राशन को निजी दुकानों और राशन माफियाओं को बेच दिया गया था।
स्टॉक में पाई गई भारी कमी
जांच रिपोर्ट के अनुसार, 1631 क्विंटल चावल और 48 क्विंटल चना का घोटाला किया गया है। इसके अलावा, शक्कर की हेराफेरी भी सामने आई है। इस खुलासे के बाद फूड इंस्पेक्टर शिव कुमार मिश्रा की रिपोर्ट पर कार्रवाई करते हुए पुलिस ने राशन दुकान संचालन करने वाली समिति के अध्यक्ष पवन सिंह, उपाध्यक्ष सुनिता पैकरा, और सहायक विक्रेता फरहान सिद्धीकी, प्रिंस जायसवाल, सैफ अली, मुकेश यादव के खिलाफ मामला दर्ज किया है।
गिरफ्तारी के लिए पुलिस की टीमें गठित
स्नढ्ढक्र दर्ज होने के बाद आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए पुलिस ने तीन टीमें गठित की हैं। शुरुआत में ऐसा लगा था कि आरोपियों को थाने से ही जमानत मिल जाएगी, लेकिन शिकायतकर्ता भाजपा नेता आलोक दुबे ने पुलिस अधिकारियों को इसकी जानकारी दी, जिसके बाद धारा 409 (आपराधिक विश्वासघात) भी जोड़ दी गई है।
अंबिकापुर में कुल 62 सरकारी राशन दुकानें हैं और माना जा रहा है कि आने वाले दिनों में अन्य राशन दुकान संचालकों के खिलाफ भी ऐसी ही बड़ी कार्रवाई हो सकती है।
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