कैग रिपोर्ट में बड़ा खुलासा : 195 करोड़ की शराब कमाई का हिसाब गायब; आबकारी विभाग में मचा हड़कंप

  • 22-Sep-25 02:09 AM

जयपुर ,22  सितंबर (आरएनएस)। राजस्थान के आबकारी विभाग में एक बड़े घोटाले का पर्दाफाश हुआ है, जिससे पूरे प्रशासनिक महकमे में हड़कंप मच गया है। भारत के नियंत्रक एवं महालेखापरीक्षक (ष्ट्रत्र) की रिपोर्ट में यह चौंकाने वाला खुलासा हुआ है कि शराब की बिक्री से होने वाली 195 करोड़ रुपये की भारी-भरकम कमाई का कोई हिसाब ही नहीं है। कैग ने इस मामले में कड़ी कार्रवाई करते हुए पूरी राशि वसूलने की सिफारिश की है।
महालेखा परीक्षक ने अपनी रिपोर्ट में राज्य सरकार को इस गंभीर वित्तीय अनियमितता पर तत्काल ध्यान देने और सख्त कदम उठाने का आग्रह किया है। कैग ने स्पष्ट रूप से कहा है कि आबकारी विभाग को अपने ही बनाए गए नियमों, अधिनियमों और नीतियों का कड़ाई से पालन सुनिश्चित करना होगा ताकि शुल्क और दंड की वसूली में कोई कोताही न हो सके।
कैग की रिपोर्ट के अनुसार, वर्ष 2021-22 के दौरान प्रदेश के 2663 शराब ठेकेदारों से संबंधित 7512 मामलों की गहन जांच की गई। इस जांच में लगभग 72 प्रतिशत मामलों, यानी 5391 प्रकरणों में गंभीर अनियमितताएं पाई गईं। यह आंकड़ा विभाग के भीतर चल रही अव्यवस्था और भ्रष्टाचार की ओर इशारा करता है।
महालेखा परीक्षक (ष्ट्रत्र) की रिपोर्ट में हुए खुलासे के अनुसार, यह वित्तीय अनियमितता कई स्तरों पर हुई है। सबसे बड़ा घाटा आबकारी शुल्क और लाइसेंस शुल्क की कम वसूली से हुआ, जहाँ 1908 मामलों में सरकारी खजाने को 100.96 करोड़ रुपये का सीधा नुकसान पहुँचाया गया। इसके अतिरिक्त, कंप्यूटरीकृत सिस्टम और लेजर रिपोर्ट में पाई गई गड़बडिय़ों के कारण अतिरिक्त शुल्क की वसूली में कमी आई, जिससे 1954 प्रकरणों में 72.88 करोड़ रुपये की चपत लगी।
यही नहीं, विदेशी शराब और बीयर पर लाइसेंस शुल्क, जुर्माना और ब्याज की वसूली में भी भारी लापरवाही बरती गई, जिससे 1190 मामलों में 15.25 करोड़ का नुकसान हुआ। रिपोर्ट में यह भी सामने आया कि ठेकेदारों द्वारा भुगतान में देरी पर लगने वाले 5.98 करोड़ रुपये का ब्याज भी 267 प्रकरणों में वसूला ही नहीं गया, और तो और, शराब-बीयर के स्टॉक में अधिक क्षति दिखाकर 34 लाख रुपये का अतिरिक्त घाटा भी दर्ज किया गया।
कैग की इस रिपोर्ट के बाद आबकारी विभाग की कार्यप्रणाली पर गंभीर सवाल खड़े हो गए हैं और अब देखना यह होगा कि सरकार इस मामले में क्या कार्रवाई करती है।
00
 




Related Articles

Comments
  • No Comments...

Leave a Comment