बददिमाग यात्रियों पर सख्ती जरूरी
- 24-Mar-24 12:00 AM
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पिछले लगभग ढ़ाई दशकों में राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली जिस एक संसाधन से सबसे ज्यादा विकसित व संपन्न हुई है, वह है दिल्ली मेट्रो। अपनी शुरुआत से ही यह अपनी खूबियों की वजह से न सिर्फ लोकप्रिय हुई बल्कि बहुत सारे कीर्तिमान भी स्थापित किए।आज मेट्रो का विस्तार न केवल दिल्ली वरन दिल्ली से लगे पूरे राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र यानी गाजियाबाद, नोएडा, गुरुग्राम,फरीदाबाद तक हो चुका है। दिल्ली मेट्रो आए दिन चर्चा का विषय बनती रहती है कभी रिकॉर्ड यात्रियों द्वारा मेट्रो में सफर के लिए तो कभी दिल्ली मेट्रो में यात्रियों द्वारा तरह-तरह की गतिविधियों के लिए। पिछले कुछ वर्षो में जब से रील कल्चर पापुलर हुआ है दिल्ली मेट्रो रील बनाने वालों का भी एक प्रमुख अड्डा बन गया है। सिंगिंग, डांसिंग से लेकर प्रैंक वीडियो तक दिल्ली मेट्रो में बिना परमिशन के शूट किए जाते रहे हैं और तमाम नियम-अधिनियम और कानूनों के बावजूद दिल्ली मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन इन्हें रोकने में असफल साबित हुआ है।आए दिन दिल्ली मेट्रो में अश्लील हरकतें करते हुए कपल के वीडियो वायरल होते रहे हैं, तो कभी गाली-गलौज करते हुए कुछ यात्री। डीएमआरसी के अनुसार दिल्ली मेट्रो में प्रतिदिन लाखों यात्री सफर करते हैं ऐसे में सभी पर नजर रख पाना संभव नहीं है, इसलिए यात्रियों से अपील है कि अगर वे आस-पास किसी को अश्लील हरकत करते हुए देखते हैं तो तुरंत मेट्रो ट्रेन के कोच में लगे इमरजेंसी बटन को दबाकर ट्रेन ऑपरेटर को भी इसकी सूचना दे सकते हैं।भारतीय दंड संहिता की धारा 294 कहती है कि व्यक्ति किसी भी सार्वजनिक स्थल पर न तो अश्लील कार्य कर सकता है न ही कोई अश्लील गाने बजा सकता है न इस तरह की कोई हरकत कर सकता है, जिससे दूसरे लोग प्रभावित हों। ऐसा करते हुए पाए जाने पर उसको तीन महीने की सजा अथवा जुर्माना या फिर दोनो हो सकता है। हालांकि इस कानून में अश्लीलता को परिभाषित नहीं किया गया है, परंतु कोई भी ऐसा कार्य जिसे देखकर लोग असहज महसूस करें तो वह अश्लीलता की ही श्रेणी में आता है।अश्लीलता को परिभाषित करना अपने आप में एक जटिल कार्य है, फिर भी सार्वजनिक जगहों पर नितांत निजी क्रियाओं को अश्लील कहा जा सकता है। दिल्ली मेट्रो अधिनियम की धारा 59 के तहत यह प्रावधान है कि कोई व्यक्ति अगर मेट्रो के अंदर किसी प्रकार की अभद्रता या अश्लीलता करते हुए पाया जाता है तो उसके विरुद्ध कानूनी कार्रवाई की जा सकती है। उसे मेट्रो से तुरंत उतारकर उस पर जुर्माने के रूप में 500 रु पए दंड का भी प्रावधान है। वैसे ये नियम तब लागू होता है जब व्यक्ति नशे की हालत में हो या उसने किसी के साथ अभद्रता की हो।दिल्ली मेट्रो में आए दिन महिला सुरक्षा को लेकर भी सवाल उठते रहे हैं कभी महिला यात्रियों से छेड़-छाड़ तो कभी उनके साथ अभद्रता की खबरें आती रहीं हैं। इसको लेकर दिल्ली मेट्रो की तरफ से कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया। हां दिल्ली मेट्रो रेल कॉर्पोरेशन ने रील बनाने जैसे कायरे को पूरी तरह प्रतिबंधित कर रखा है और ऐसा करते हुए पाए जाने पर उनके विरु द्ध सख्त कार्रवाई के निर्देश भी जारी किए गए हैं। फिर भी आए दिन चलती हुई मेट्रो में कभी तरह-तरह के स्टंट करते हुए युवा रील बना रहे हैं तो कभी अन्य सहयात्रियों की असुविधा का ध्यान रखे बिना प्रेम या चुंबन जैसे निजी क्रिया को सार्वजनिक दिखावा करते हुए पाए जा रहे हैं। ऐसा कई बार इंटरनेट मीडिया पर वायरल होने के लिए भी किया जाता है।अभी पिछले दिनों दो महिलाओं की मेट्रो में हुई लड़ाई का वीडियो तेजी से वायरल हुआ, जिसमें दोनों एक-दूसरे को भद्दी-भद्दी गालियां दे रही हैं। क्या इस तरह की घटनाओं से बाकी सहयात्री प्रभावित नहीं होते? क्या बच्चों/युवाओं पर ऐसी घटना का बुरा प्रभाव नहीं पड़ता? आए दिन मेट्रो में चोरी की घटनाएं हो रही हैं, ग्रुप बनाकर चोरी करने वाले गिरोह (महिला/पुरु ष दोनों) ऐसी घटनाओं को अंजाम दे रहे हैं, पर इसे भी दुर्भाग्य से रोका नहीं जा पा रहा। क्या डीएमआरसी को इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए ठोस उपाय नहीं करना चाहिए?क्या ऐसे लोगों की आगे कुछ समय के लिए मेट्रो की यात्रा करने पर रोक नहीं लगा देना चाहिए? हवाई यात्राओं में कोई यात्री र्दुव्?यवहार करता पाया जाता है और ऐसा बार-बार करता है तो उसको जैसे भविष्य में कुछ माह/साल के लिए यात्रा के लिए अयोग्य घोषित कर दिया जाता है वैसे ही मेट्रो की यात्रा के लिए भी किया जाना वक्त की मांग है। ऐसे कृत्य के लिए फिलहाल दंड या जुर्माने का प्रावधान नाकाफी है। यात्रियों की बेहतरी, सुरक्षा और निजता की रक्षा के लिए डीएमआरसी को अपने प्रावधानों में बदलाव करना चाहिए। निश्चित तौर पर इन सुधारों से दिल्ली मेट्रो दुनिया की सबसे बड़ी लाइन, सर्वाधिक यात्रियों के साथ सबसे बेहतर और सुरक्षित सुविधा वाली सेवा साबित होगी।
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