(कुशीनगर) कप्तान साहब! यहां अवैध रूप से कट रही है गाडियां
- 28-Sep-25 12:00 AM
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----- कबाड की दुकानों पर चोरी की गाडिय़ां कटने का चर्चा जोरो पर।----- जिले मे नही है किसी को गाडी कटिंग करने लाइसेंस।कुशीनगर, 28 सितम्बर (आरएनएस)। जनपद के कसया थाना क्षेत्र के सबया एनएच-28 पर स्थित गौरीशंकर मोटरपार्टस कबाड की दुकान पर खुलेआम अवैध तरीके से छोटे-बडे वाहन, लक्जरी गाडियां व ट्रक काटकर उसके स्प्रेयर पाट्र्स बाहर भेजे जा रहे है। सूत्रो का दावा है कि इसमें चोरी की गाडियां भी खपत की जाती है। कहना न होगा कि जिले में न तो किसी कबाड की दुकान को वाहन कटिंग करने का लाइसेंस जारी हुआ है और न ही गाडियों की कटिंग करने के लिए एआरटीओ विभाग द्वारा किसी कबाडी के दुकान को अधिकृत किया गया है। ऐसे मे सवाल यह है कि गौरी शंकर मोटर पाट्र्स सहित जिले में संचालित तमाम कबाड की दुकानों पर किसके संरक्षण मे वाहनों की कटिंग की जा रही है?ज्ञातव्य हो कि जनपद के कसया कस्बे के सबया एनएच-28 पर स्थित गौरीशंकर मोटरपार्टस कबाड की दुकान पर छोटे-बडे व लक्जरी वाहनों की हो रही कटिंग एक बानगी मात्र है। चर्चा-ए-सरेआम है कि कसया सहित जिले के शहरी व ग्रामीण क्षेत्रों के विभिन्न चौक-चौराहों पर संचालित हो रहे कबाड़ की दुकानों के आड़ में चोरी का माल खपाया जा रहा है। चर्चा यह भी है कि क्षेत्र में हो रही चोरी के पीछे अपराधियों को अप्रत्यक्ष रूप से कबाडिय़ों का सरंक्षण भी मिल रहा है। सूत्रो का दावा है कि पुलिस, कबाडिय़ों की दुकान और गोदाम की ठीक से जांच कर दे तो कबाडी की दुकान पर कबाड़ की आड़ में चोरी का माल खरीदने की पोल खुल जाएगी।बताया जाता है कि कसया थाना क्षेत्र में एक दर्जन से अधिक कबाड की दुकाने है। जहां अवैध तरीके से चलते-फिरते चोरी के वाहनों को दिन के उजाले में पलक झपकते ही अलग-अलग पाट्र्स मे तब्दील कर दिया जाता है। सूत्रो की माने तो इन कबाड की दुकानों पर दर्जनो मजदूर गैस कटर से दिन रात वाहनों को काटने का काम करते है। विश्वस्त सूत्रो माने तो कसया नगर का एक व्यक्ति जो पहले कबाड की दुकान संचालित करता था। इन अवैध कबाड के कारोबारियों का गुरु बताया जाता है। सूत्रों का कहना है कि इसी शक्स के दिशा निर्देश व कुछ छुटभैये सफेदपोश और कथित पत्रकारों के संरक्षण में इन अवैध कबाडियों के दुकान पर चार पहिया व ट्रक अवैध रूप से कटता है। इतना ही नहीं वाहनों के चेसिस नंबर और वाहन के बाडी बदलने का भी यहां खेल होता है और कोई आंख तरेरने की हिमाकत नही करता है। वजह यह है कि यह व्यक्ति स्थानीय प्रशासन, पुलिस, तथाकथित पत्रकार और इस धंधे व इससे जुडे धंधेबाजो को नुकसान पहुचाने वाले व्यक्ति से मैनेज करता है। यही कारण है कि गौरीशंकर सहित अन्य कबाड की दुकानों पर रात की बात कौन कहे दिन के उजाले में बेखौफ गाडियां कट रही है और पुलिस प्रशासन धृतराष्ट्र बन बैठा है। इस संबंध में जानकारी के लिए गौरीशंकर मोटरपार्टस के संचालक मन्नू गुप्ता से बातचीत किया गया तो उन्होंने स्पष्ट शब्दों में कहा गाडियों की कटिंग सिर्फ हम नही करते कसया व पडरौना मे मिलाकर तीन दर्जन से अधिक कबाड की दुकाने है। जहां गाडियों को काटा जाता है। उन्होने कहा कि हमने जीएसटी ले रखा है। जब मन्नू से पत्रकार ने पूछा कि गाडी काटने के लिए लाइसेंस है तो उन्होने चुप्पी साध लिया फिर खुद को संभालते हुए कहा सभी लोग ऐसे ही काम करते है।इनसेट-- एआरटीओ कार्यालय में नहीं है कोई पंजीकृत-- गौरतलब हो कि एआरटीओ कार्यालय में वाहन काटने के लिए जनपद में कोई भी कबाड़ व्यापारी न तो पंजीकृत है और न ही अधिकृत है। इसके बावजूद कसया क्षेत्र मे तकरीबन एक दर्जन से कबाड़ के दुकान पर बेखौफ भारी वाहने काटी जा रही है। इतना ही कबाड व्यापारियों द्वारा वाहन काटने की सूचना तक एआरटीओ कार्यालय में नहीं दी जाती है।
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