(रायपुर) कोयले पर जीएसटी 18त्न कर दी गई है, इससे बिजली दर में आएगी कमीं

  • 26-Sep-25 01:05 AM

रायपुर।  26 सितबंर (आरएनएस )।  छत्तीसगढ़ के बिजली उपभोक्ताओं के लिए राहत भरी खबर आई है। केंद्र सरकार ने कोयले पर लगने वाला 400 रुपए प्रति टन का कंपनसेशन सेस समाप्त करने का फैसला लिया है। इस फैसले से राज्य में बिजली की दरों में कमी आएगी। बिजली उत्पादन लागत घटने से उपभोक्ताओं को प्रति यूनिट लगभग 11 पैसे तक की राहत मिलेगी। इस फैसले से लगभग 65 लाख बिजली उपभोक्ताओं के लाभान्वित होने की संभावना जताई जा रही है। यह लाभ की संभावना विशेषज्ञों का कहना है कि कंपनसेशन सेस खत्म होने पर बिजली दर में कमीं तो आएगी ही। साथ ही इस निर्णय से न केवल बिजली सस्ती होगी, बल्कि लंबी अवधि में बिजली दरों को स्थिर बनाए रखने में भी मदद मिलेगी। हालांकि, कोयले पर जीएसटी दर 5त्न से बढ़ाकर 18त्न कर दी गई है, लेकिन कुल मिलाकर थर्मल पावर प्लांट की लागत कम होने के कारण बिजली कंपनियों की खर्च में राहत मिली है। इस बदलाव का फायदा सभी वर्गों के उपभोक्ताओं को मिलेगा और बिजली की दरों में यह स्थायी राहत देने वाला कदम माना जा रहा है। जीएसटी में बढ़ोत्तरी फिर बिजली दर कम ऐसे दरअसल, छत्तीसगढ़ बिजली कंपनी के अधिकारियों ने बताया कि कोयले पर लगने वाले कंपनसेशन सेस यानी क्षतिपूर्ति उपकर को 400 रुपये प्रति टन समाप्त किया गया है, और कोयले पर जीएसटी 18त्न कर दी गई है. ऐसे में छत्तीसगढ़ स्टेट पावर जनरेशन कंपनी को कोयला 152.36 रुपये प्रति टन कम कीमत पर प्राप्त होगा, जिससे उत्पादन लागत में 11 पैसे प्रति यूनिट की कमी की आशंका है।  ऐसे में उपभोक्ताओं को भी बड़ी राहत मिलेगी।क्या होता है कंपनसेशन सेसजीएसटी कंपनसेशन सेस एक तरह का अतिरिक्त (एक्स्ट्रा) टैक्स होता है जो कुछ लक्जरी और अहितकर सामानों पर लगाया जाता है. इस टैक्स के पैसों से उन राज्यों का उद्धार (क्षतिपूर्ति) किया जाता है जिनका जीएसटी लागू होने के बाद राजस्व में नुकसान आया था।
त्रिपाठी




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